राजस्थान का राज्यपाल कौन है? राज्यपाल की सैलरी, शक्तियां, योग्यता – वर्तमान समय में राजस्थान के राज्यपाल भारतीय जनता पार्टी के श्री कलराज मिश्र है। राजस्थान के राज्यपाल के रूप में श्री कलराज मिश्र ने 9 सितंबर 2019 को शपथ ली थी। 16वीं लोकसभा में हिमाचल प्रदेश के राज्यपाल और लघु उद्योग मंत्री रह चुके हैं।
राजस्थान का राज्यपाल कौन है?
वर्तमान समय में राजस्थान के राज्यपाल भारतीय जनता पार्टी के श्री कलराज मिश्र है। श्री कलराज मिश्रा नया वर्ष 2014 के लोकसभा चुनाव में उत्तर प्रदेश के देवरिया सीट से भारतीय जनता पार्टी की तरफ से चुनाव लड़ा था। वहां से भी निर्वाचित होकर चुनें गए।
कलराज मिश्र का जीवन परिचय –
नाम – कलराज मिश्र
जन्म – 1 जुलाई 1941
जन्म स्थान – सैदपुर उत्तर प्रदेश
धर्म – हिंदू
पत्नी – सत्यवती मिश्रा
बच्चे – 3 बच्चे
राजनीतिक पार्टी – भारतीय जनता पार्टी
पद – राज्यपाल राज्यमंत्री
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राज्यपाल कौन होता है?
राज्यपाल राष्ट्रपति की तरह प्रभुत्व वाला एक वह पद होता है, जो राष्ट्रपति की तरह राज्य की प्रशासनिक व्यवस्था की देखरेख करता है। राज्यपाल को ना तो सीधा जनता द्वारा चुना जाता है और ना ही अप्रत्यक्ष रूप से राष्ट्रपति द्वारा चुना जाता है। परंतु राष्ट्रपति की मुहर सहित राज्यपाल का चयन किया जाता है।
किसी भी राज्य के लिए राज्यपाल का पद अत्यंत महत्वपूर्ण होता है। राज्यपाल के हस्ताक्षर के बाद ही राज्य सरकार के किसी भी प्रस्ताव को पास के जाता है, किसी भी विधेयक को लागू किया जाता है। राज्यपाल चाहे तो उस विधेयक को वापस भी भेज सकता है या हस्ताक्षर करने से मना भी कर सकता है।

राज्यपाल की क्या योग्यताएं होनी चाहिए?
भारतीय संविधान के अनुच्छेद 157 के अनुसार राज्यपाल में निर्धारित की गई योग्यताएं होनी चाहिए। तभी उसे राज्यपाल नियुक्त किया जा सकता है।
- सबसे पहले तो वहां भारत का नागरिक होना चाहिए।
- राज्यपाल के उम्मीदवार की आयु कम से कम 35 वर्ष होनी चाहिए।
- वह पहले से किसी भी पद पर कार्यरत नहीं होना चाहिए।
- संसद या राज्य विधानसभा मंडल का सदन सदस्य भी नहीं होना चाहिए।
- विधानसभा के सदस्य के रूप में चुनने के लायक होना चाहिए।
इस तरह की कुछ सामान्य से योग्यता के आधार पर राज्यपाल की नियुक्ति की जाती है।
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राज्यपाल का कार्यकाल –
भारत के संविधान के तहत अनुच्छेद 157 के अनुसार राज्यपाल को राष्ट्रपति के हस्ताक्षर के आधार पर पद सौंपा जाता है। राज्यपाल का कार्यकाल 5 वर्ष का होता है, लेकिन भारतीय संविधान के अनुच्छेद 156,2 के तहत किसी भी राज्य का राज्यपाल अपने कार्य अवधि से पहले ही राष्ट्रपति को अपना त्यागपत्र देकर अपने पद से मुक्त हो सकता है। लेकिन राज्यपाल को अपने पद से बर्खास्त करने का संविधान में कोई भी उल्लेख नहीं किया गया है।
राज्यपाल का वेतन और भत्ता-
सरकार द्वारा समय-समय पर पेश किए गए बजट में राज्यपाल का भता और वेतन भी बढ़ाया जाता है। राज्यपाल के वेतन और भत्ते में भी बदलाव किया जाता है। वर्तमान समय में राज्यपाल का वेतन और भत्ता ₹350000 है। जबकि इससे पूर्व वर्ष 2008 में ₹1 लाख 10 हजार राज्यपाल का वेतन और भता मिलता था। इसके अलावा राज्यपाल को मुफ्त में रहने के लिए आवास प्रदान किया जाता है और भी अनेक तरह की सुविधाएं उपलब्ध कराई जाती है। यदि कोई राज्यपाल दो राज्यों का कार्यभार संभालता है, तो राष्ट्रपति के अनुसार उसे अतिरिक्त बता दिया जाता है।
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राज्यपाल को शपथ ग्रहण कौन करवाता है?
राज्य पाल को शपथ दिलवाने के लिए भारतीय संविधान के अनुच्छेद 159 के अनुसार राज्यपाल जी से राज्य में अपने पद को ग्रहण करने वाला होता है। उस राज्य के उच्च न्यायालय के मुख्य न्यायाधीश राज्यपाल को शपथ ग्रहण करवाते हैं। जिस तरह से राज्यपाल मुख्यमंत्री को हस्ताक्षर करके शपथ दिलाता है। ठीक उसी तरह राज्य के उच्च न्यायालय के वरिष्ठ न्यायाधीश अपने हस्ताक्षर से अपनी देखरेख में राज्यपाल की नियुक्ति करवाता है।
राज्यपाल की नियुक्ति किस प्रकार होती है?
किसी भी राज्य के राज्यपाल की नियुक्ति राष्ट्रपति के हस्ताक्षर द्वारा की जाती है, कि हमारे भारतीय संविधान के अनुच्छेद 155 के द्वारा निर्धारित की जाती है। राज्यपाल की नियुक्ति 5 वर्ष के लिए होती है। 5 वर्ष की अवधि के बाद दूसरी राज्यपाल की नियुक्ति की जाती है। राज्यपाल की नियुक्ति हमेशा यह देखकर किया जाता है कि वह राज्यपाल उस राज्य का निवासी ना हों। राज्यपाल की नियुक्ति के समय मुख्यमंत्री की सलाह लेना भी जरूरी होता है।
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राज्यपाल के कार्य एंव शक्तियां –
राज्यपाल के पास वित्तीय शक्तियां होती हैं। राज्यपाल के पास नियुक्ति शक्तियां होती हैं, आपात शक्तियां होती है, विधेयक शक्तियां होती है, प्रशासनिक शक्तियां होती है, अध्यादेश जारी करने की शक्तियां होती हैं, विवेकीय शक्तियां होती है। इसके अलावा राज्यपाल के पास अन्य शक्तियां होती है।
Conclusion
राज्यपाल किसी भी राज्य के लिए एक महत्वपूर्ण पद होता है, जिसे राष्ट्रपति की तरह देखा जाता है। राष्ट्रपति की तरह वह राज्य की प्रशासनिक और कानून व्यवस्था की देखरेख करता है और अपनी देखरेख में राज्य सरकार द्वारा पास किया गया प्रस्ताव को मंजूरी देता है। राज्यपाल की नियुक्ति राष्ट्रपति के हस्ताक्षर के तौर पर की जाती है।
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राज्यपाल राज्य सरकार द्वारा पेंश किए गए प्रस्ताव को खारिज भी कर सकता है। इसीलिए आज के इस आर्टिकल में हमने आपको बताया है कि राजस्थान का वर्तमान समय में राज्यपाल कौन है? राज्यपाल कौन होता है? राज्य पाल की शक्तियां क्या है? राज्य पाल की सैलरी कितनी है? राज्यपाल की योग्यता क्या है? हमें उम्मीद है। यह जानकारी आपके लिए जरूरी ही उपयोगी साबित हुई होगी। आपका कोई प्रश्न है? तो आप कमेंट करके पूछ सकते हैं।