राजस्थान की प्रमुख झीलें- Major Lakes of Rajasthan – राजस्थान अपनी प्राचीन और विशालकाय झीलों के लिए विख्यात है| भले ही राजस्थान अति शुष्क राज्य हैं, लेकिन राजस्थान के उदयपुर शहर को “झिलों की नगरी” नाम से जाना जाता है |
यहां पर मीठे और खारे पानी की, दो प्रकार की झीलें मौजूद है | तो इस आलेख में हम आपको राजस्थान की प्रमुख व प्रसिद्ध झिलों के बारे में संपूर्ण जानकारी बताएंगे |
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राजस्थान की प्रमुख झिले कौन-कौन सी है? राजस्थान में प्रसिद्ध झिलें कौन-कौन सी हैं? The Major Lakes in Rajasthan in Hindi, राजस्थान की झीलें? राजस्थान की प्रमुख झिलों की विस्तार से जानकारी –
राजस्थान की प्रमुख झीलें कौन-कौन सी है?
मुख्यंत राजस्थान में २ प्रकार की झीलें मौजूद है | १. मीठे पानी की २. खारे पानी की | मीठे पानी की झिलों का पानी पीने के लिए व खेतों में सिंचाई के लिए काम आता है, जबकि खारे पानी की झीलों से नमक बनाया जाता है |
राजस्थान में मीठे पानी की झीले कौन-कौन सी है?
1. कायलाना
2. जयसमंद
3. पुष्कर
4. आनासागर
5. पिछोला
6. उदय सागर
7. राजसमंद
8. नक्की झील
9. बालसमंद
10.फतेहसागर
प्रमुख मीठे पानी की झीलें हैं, इन सभी झिलों के पानी को पीने के लिए और खेतों में सिंचाई करने के लिए उपयोग में लिया जाता है, तो आइए इन सभी झिलों के बारे में विस्तार से जान लेते हैं |
राजस्थान की प्रमुख मिठें पानी की झीलें – Major Lakes of Rajasthan

आनासागर झील
इस झील का निर्माण अजमेर के जमीदारा आना जी ने 1137 ईस्वी में करवाया था | यह झील 12 किलोमीटर लंबी हैं, जो दो पहाड़ियों के बीच बनाई गई है | पूर्णिमा की रात को चांदनी में यह झील अत्यंत सुंदर दिखती है | जहांगीर ने यहां दौलत बाग और शाहजहां ने यहां बारादरी का निर्माण करवाया था |
जयसमन्द
राजस्थान में यह मीठे पानी की सबसे बड़ी झील है इस झील का निर्माण 1685- 1691 ई० में राजा जयसिंह ने करवाया था | यह झिल गोमती नदी पर बांध के रूप में स्थित है | जयसमंद झील का आकार- लंबाई 375 व 35 मीटर ऊंचा है|
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यह झील उदयपुर जिले में स्थित हैें, यहा पर प्राचीन और कलात्मक छतरियां बनी हुई है | यह झील पूरी तरह से पहाड़ों से गिरी हुई है, इसीलिए इसका शांत एवं पहाड़ियों से गिरा हुआ वातावरण पर्यटको को अपनी और आकर्षित करता है |
पिछोला झील
उदयपुर में स्थित पिछोला झील प्राकृतिक सौंदर्य से पर्यटकों का मन मोह लेती है | इस झील केे बीच में दो टापू पर जगनिवास व जग मंदिर २ सुंदर महल बने हुए हैं | यह झील लगभग 7 किलोमीटर चौड़ी है | इस झील का निर्माण राणा लाखा के शासनकाल में एक बंजारे ने 14वीं शताब्दी में करवाया था |
राजसमन्द
राजसमंद झील की लंबाई 6.5 किलोमीटर लंबी और चौड़ाई 3 किलोमीटर है | इस झील का निर्माण उदयपुर के महाराजा राज सिंह ने 1662 ई० में करवाया था | इस झील का पानी सिंचाई करने व पीने हेतु उपयोग में लिया जाता है |
राजसमंद झील का उत्तरी भाग ‘नौ चौकी’ नाम से विख्यात है| इस जेल के उत्तरी भाग पर संगमरमर की 25 शिलालेख मौजूद है, जिस पर संस्कृत भाषा में मेवाड़ का इतिहास अंकित है | यह झील उदयपुर से लगभग 65 किलोमीटर दूर कांकरोली नामक स्टेशन के पास स्थित है |
कोलायत झील
कोलायत झील बीकानेर में स्थित है | इसकी की लंबाई 48 किलोमीटर लंबी है | बीकानेर के दक्षिण-पश्चिम में स्थित कोलायत झील एक प्रमुख झील है | यहां पर हर वर्ष कार्तिक पूर्णिमा के दिन मेला लगता है, जो काफी प्रसिद्ध है इस झील के पास कपिल मुनि जी का आश्रम मौजूद है |
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नक्की झील
नक्की झील प्रकृति की देन है, लेकिन मान्यता है की इस झील को नाखुनों से खोदकर बनाया गया है | नक्की झील माउंट आबू में स्थित है | जिसकी गहराई 35 मीटर और कुल क्षेत्रफल 9 वर्ग किलोमीटर में फैला हुआ है | नक्की झील अपनी प्राकृतिक सुंदरता के लिए पर्यटकों का आकर्षक केंद्र बना हुआ है | यह झील राजस्थान की सभी प्रमुख झीलों में खास स्थान रखती हैं |
फाई सागर झील
अजमेर में स्थित फायसागर एक प्राकृतिक झील है | इस झील में वर्ष भर पानी रहता है, इसीलिए आनासागर झील में इस झील का पानी भेज दिया जाता है | प्राकृतिक झील होने के कारण इसका दृश्य मनमोहक लगता है |
उदय सागर
उदय सागर झील का निर्माण राणा उदय सिंह ने करवाया था| यह झील उदयपुर से लगभग 15 किलोमीटर दूर स्थित है |इस झील से खेतों में सिंचाई हेतु पानी काम में ले जाता है |
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पुष्कर झील
राजस्थान पुष्कर में स्थित यह झील 10 किलोमीटर लंबी है, इस झील के तीन तरफ पहाड़ियां है, जिससे वर्षा ऋतु के समय इस झील का प्राकृतिक सौंदर्य आकर्षक और मनमोहक लगता है|
पुष्कर हिंदुओं का प्रसिद्ध तीर्थ स्थल है | यहां पर ब्रह्मा जी का मंदिर बना हुआ है | पुष्कर में पुष्कर झील के पास हर वर्ष मेला लगता है | पुष्कर झील पर्यटकों का प्रमुख केंद्र हैं |
सिलीसेढ़ झील
अलवर से 12 किलोमीटर दूर दिल्ली-जयपुर राष्ट्रीय राजमार्ग पर स्थित यह एक प्राकृतिक झील है | इस झील का दृश्य पर्यटकों को अपनी ओर आकर्षित कर लेता है | इसलिए यह झील पर्यटकों का प्रमुख स्थान है |
फतह सागर
फतेहसागर झील का निर्माण राणा फतेह सिंह ने करवाया था| इस झील की लंबाई 1.5 किलोमीटर है | फतेहसागर झील को मनमोहक दृश्य की वजह से पर्यटक यहां घूमने के लिए आते हैं | पिछोला झील से निकली हुई यह एक नहर है |
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बालसमन्द झील
सूर्यनगरी नाम से विश्व प्रसिध्द क्षेत्र जोधपुर के उत्तर में बालसमंद झील स्थित है | बालसमंद झील का पानी संपूर्ण जोधपुर वासी पीने के लिए इस्तेमाल करते हैं | यह झील पर्यटकों के साथ-साथ पक्षियों का भी प्रमुख आकर्षक केंद्र है| सुबह और शाम के समय बालसमंद झील का नजारा मनमोहक लगता है |
राजस्थान में खारे पानी की झीलें कौन-कौन सी है?
1. साँभर झील
2. पंचभद्रा झील
3. लूणकरण सागर
4. डीड़वाना झील
राजस्थान में प्रमुख खारे पानी की झीलें

साँभर झील
राजस्थान की सबसे बड़ी खारे पानी की झील सांभर झील है| सांभर झील अपने गुणवत्ता के लिए प्रसिद्ध है | सांभर झील की लंबाई 32 किलोमीटर तथा चौड़ाई 12 किलोमीटर है | गर्मियों के मौसम में वाष्पीकरण की वजह से इसका आकार बहुत ही कम हो जाता है|
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सांभर झील का अपवाह क्षेत्र लगभग 500 वर्ग किलोमीटर में फैला हुआ है | इस झील से प्रति वर्ष प्रति वर्ग किलोमीटर से 60,000 टन नमक उत्पादन किया जाता है | सांभर झील का क्षेत्रफल 145 वर्ग किलोमीटर में फैला हुआ है |
सांभर झील पर सोडियम सल्फेट संयंत्र स्थापित किया गया है, जिससेे खारे पानी से नमक बनाया जाता है | सांभर झील जयपुर और नागौर जिले की सीमा पर जयपुर की फुलेरा तहसील में स्थित है |
पंचभद्रा झील
पचपदरा झील बाड़मेर जिले के पचपदरा नगर में स्थित है | पचपदरा झील का क्षेत्रफल लगभग 25 वर्ग किलोमीटर में फैला हुआ है| पचपदरा झील में 98% सोडियम क्लोराइड की मात्रा पाई जाती हैं, इससे खारे पानी से नमक तैयार किया जाता है |
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पचपदरा झील में नियमित रूप से बहने वाले जल स्रोतों से खरा पानी मिलता है | पचपदरा झील वर्षा के पानी पर निर्भर नहीं है |
डीड़वाना झील
डीडवाना झील खारे पानी की एक प्रमुख झील है, इस झील की लंबाई 4 किलोमीटर है | इस झील के खारे पानी से नमक तैयार किया जाता है | यहां पर सोडियम सल्फेट का संयंत्र लगाया हुआ है |
डीडवाना झील से जो नमक तैयार किया जाता है, उसका उपयोग जोधपुर व बीकानेर क्षेत्र में किया जाता है | यह झील नागौर जिले के डीडवाना क्षेत्र में स्थित है|
लूणकरण सागर झील
लूणकरण झील बीकानेर जिले के उत्तर-पूर्व में स्थित है, यह काफी फैली हुई है | लवकरण जेल में लवण की मात्रा अत्यंत कम होने की वजह से इस झील से बहुत ही कम मात्रा में नमक तैयार किया जाता है |